१ एक अजनबी से मुझे इतना प्यार क्यों है
इनकार करने पर चाहत का इकरार क्यों है
उसे पाना नही मेरी तकदीर में शायद
फिर हर मोड़ पे उसका इंतज़ार क्यों है ।
२ सूख जाते हैं लब लफ्ज़ मिलते नहीं
रह जाते हैं साए अक्स दिखते नहीं
होता नहीं हमसे इश्क बयान ,
और वो नज़रों की जुबान समझते नहीं ।
३ खुदा करे दोस्ती में एक ऐसा मुकाम आए ,
मेरी रूह मेरा जीवन मेरे दोस्त के काम आए
हम तो चाहते हैं अगले जनम भी ,
आपके दोस्तों में हमारा नाम आए ।
४ उनकी गली से हम निकले, अजीब इत्तेफाक था
फूल तो फेका उन्हों ने लेकिन पौट भी साथ था ।
५ दोस्त का पहला पैगाम आपके नाम
जिंदगी की हर शाम आपके नाम
इस सफर मैं हमसफ़र हैं हूँ दोनों
इस दोस्ती को निभाना हमारा काम ।
६ रिश्तों की एहमियत बताते हैं फासले ,
और थोड़ा तड़पाते भी है फासले
दिलो में न कभी दूरी ये दुआ करले
चाहे बने रहे यूँही ये फासले ।
७. कितनी परवाह करते हैं हम उनकी
काश उनको भी यह एहसास हो जाए
कहीं ऐसा न हो की वो तब होश मैं
आयें जब हम गहरी नींद मैं सो जाएँ ।
८ कितनी बुरी लगती है ज़िन्दगी, जब हम तनहा महसूस करते हैं ,
मरने के बाद मिलते हैं चार कंधे, जीते जी हम एक को तरसते हैं .
९ उनका वादा है की वो लौट आयेंगे ,
इसी उम्मीद पर हम जिए जायेंगे ,
यह इंतज़ार भी उनकी ही तरह प्यारा है,
कर रहे थे , कर रहे है और किए जायेंगे
१० बुझी हुई शमा फिर से जल सकती है
तूफानों में घिरी कश्ती किनारे लग सकती है
मायूस न होना कभी ज़िन्दगी में
यह किस्मत है कभी भी बदल सकती है
११ सूरज चढ़े ता लोग कहंदे दिन चढ़ गया,
सानु तेरे बगैर सजना अँधेरा लगदा,
तू मिले तो चाहे काली रात होवे,
सानु ओही पल सजना सवेरा लगदा
१२ चुपके से चाँद की रौशनी आपकी हो जाए,
धीरे से हवा आपको कुछ कह जाये,
दिल से जिन्हें चाहते हो उन्हें मांग लो खुदा से ,
हम दुआ करेंगे आपको वो मिल जाये ।
१३ तुझे भूलकर भी न भूल पाएंगे हम,
बस यही एक वादा निभा पाएंगे हम
मिटा देंगे ख़ुद को भी जहाँ से लेकिन,
तेरा नाम दिल से न मिटा पाएंगे हम ।
१४ आपको चाहने वाले कम ना होंगे
मगर वक्त के साथ हम न होंगे,
अपना प्यार चाहे किसी को भी देना,
पर आपकी यादों का हक़दार हम ही होंगे ।
१५ करोगे याद एक दिन इस प्यार के ज़माने को,
चले जायेंगे जब हम कभी न वापस आने को ,
चलेगा महफिल में जब ज़िक्र हमारा कोई,
तो तुम भी तन्हाई खोजोगे आंसू बहाने को ।
१६ हर समंदर के किनारे होते हैं,
कुछ दोस्त जान से भी प्यारे होते हैं,
क्यों कहते लोग के अकेले रह गए हम,
जिन्दगी में यादों के भी सहारे होते हैं।
१७ बहुत दूर मगर बहुत पास रहते हो
आँखों से दूर मगर दिल के पास रहते हो
मुझे बस इतना बता दो,
क्या तुम भी मेरे बिन उदास रहते हो?
ABOVE WORK IS SEMI-ORIGINAL CREATION OF AUTHOR
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